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खराब किडनी के लक्षण और बचाव के उपाय

खराब किडनी के लक्षण और बचाव के उपाय

खराब किडनी (Kidney Failure) की वजह से कई लोगों की जान चली जाती है। हर साल इससे संबंधित 2 लाख लोग ग्रसित होती है। एक रिपोर्ट में यह सामने आया है कि इसमें से 1 प्रतिशत लोगों को ही किडनी ट्रांसप्लांट की जरूरत पड़ती है। लोगों को किडनी की बीमारी के लिए जागरूक रहना चाहिए। हम यहाँ पर खराब किडनी के लक्षण के अलावा और भी कई चीज़ों के बारे में बताएंगे।

खराब किडनी क्या है?

हर व्यक्ति के शरीर में दो किडनी होती है, जो मुख्य रूप से पेट के पीछे होता है। यह किडनी रीढ़ की हड्डी के दोनों तरफ स्थित होती हैं। किडनी का मुख्य काम खून को साफ करना और शरीर से विषाक्त पदार्थ को बाहर निकलना है लेकिन, जब किडनी यह काम नहीं कर पाती, तब किडनी खराब हो जाती है।

किडनी खराब के प्रकार:

किडनी खराब मुख्य रूप से 2 प्रकार की होती है।

  1. एक्यूट किडनी: जब किसी व्यक्ति की किडनी में खून का प्रवाह सही तरीके से नहीं होता तब उस स्थिति को एक्यूट किडनी (Acute Kidney) कहते है। एक्यूट किडनी बीमारी का इलाज उसी स्थिति में संभव है, जब रक्त प्रवाह के कम होने का पता लग पाएँ।
  2. क्रोनिक किडनी: किडनी फेलियर का एक और प्रकार है क्रोनिक किडनी। क्रोनिक किडनी (Chronic Kidney) बीमारी तब होती है, जब किसी व्यक्ति को चोट लगती है जिसकी वजह से किडनी सही तरीके से काम नहीं कर पाती। क्रोनिक किडनी की बीमारी का इलाज केवल किडनी ट्रांसप्लांट के द्वारा ही संभव है।

खराब किडनी के लक्षण:

किडनी खराब के कुछ लक्षण है जो शुरू से ही संकेत देते है।

  • मूत्र का कम मात्रा में होना: यह किडनी के खराब होने का एक मुख्य कारण है, जिसमें व्यक्ति के मूत्र की मात्रा कम होती है। यह यूरिन इंफेक्शन का भी लक्षण हो सकता है इसलिए किसी भी नतीजे पर पहुँचने से पहले डॉक्टर से जरूर सलाह लें।
  • पैरों और एड़ी में सूजन आना: कुछ लोगों में पैर और एड़ी में सूजन आ जाती है, इसे नजरअंदाज ना करें यह किडनी खराबी का लक्षण भी हो सकता है।
  • सांस लेने में तकलीफ होना: यदि किसी व्यक्ति को सांस लेने में तकलीफ होती है, तो तुंरत डॉक्टर से संपर्क करें क्योंकि यह किडनी खराब का लक्षण हो सकता है।
  • सीने में दर्द होना: किडनी खराब का एक लक्षण सीने में दर्द भी हो सकता है। इसलिए इस लक्षण को नजरअंदाज नहीं करना चाहिए।
  • थकान महसूस होना: जब किडनी अपना काम सही तरीके से नहीं कर पाती तो हमें थकान जैसा महसूस होता है।

किडनी खराब क्यों होती है?

आप अपने शरीर में होने वाले परिवर्तनों को ध्यान दोंगे तो आप समय पर इस बीमारी को पकड़ सकते है।

  • मधुमेह का होना: किडनी खराब होने का एक कारण डायबिटीज भी है। इसलिए ज्यादातर किडनी खराब मधुमेह से पीड़ित रोगियों को होती है।
  • उच्च रक्तचाप का होना: कई बार यह किडनी की बीमारी उन लोगों को होती है, जो उच्च रक्तचाप से पीड़ित होते हैं।
  • ल्यूपस बीमारी का होना: किडनी खराब की समस्या ल्यूपस बीमारी की वजह से हो सकती है। इसलिए ल्यूपस से पीड़ित व्यक्ति को डॉक्टर से सलाह लेनी चाहिए।
  • आनुवांशिक कारण का होना: किडनी खराब की बीमारी ऐसे व्यक्ति को ज्यादा होती है, जिसके परिवार की कोई हिस्ट्री हो।
  • मूत्र मार्ग संक्रमण का होना: यह किडनी की बीमारी यूरिन इंफेक्शन से पीड़ित लोगों को हो सकती है। यूरिन इंफेक्शन से पीड़ित व्यक्ति को इलाज सही तरह से करवाना चाहिए ताकि कोई बीमारी ना हो।

खराब किडनी का इलाज कैसे करें:

यह सवाल हर उस व्यक्ति के लिए महत्वपूर्ण है, जो किडनी की बीमारी से पीड़ित होता है। क्योंकि इस दौरान काफी परेशानियाँ हो सकती है। इसी कारण हमेशा ऐसी बिमारियों की तलाश रहती है जिससे किडनी की बीमारी का इलाज हो सकें।

किसी 5 तरीकों से आप इस बीमारी से निजात पा सकते है।

  • ब्लड टेस्ट कराना: कई बार डॉक्टर किडनी खराब का इलाज करने के लिए ब्लड टेस्ट करवा सकते हैं। ब्लड टेस्ट के माध्यम से डॉक्टर इस बात का पता लगा सकते है कि किसी व्यक्ति के खून में इस बीमारी का कितना असर हुआ।
  • मूत्र की जांच करवाना: किडनी खराब का मूत्र में होने वाले असर का पता लगाना इस किडनी की बीमारी का इलाज करने का एक तरीका है। इसी कारण किडनी खराब का इलाज यूरिन टेस्ट के द्वारा किया जाता है।
  • एमआरआई या सीटी स्कैन करवाना: किडनी की बेहतर तस्वीर प्राप्त करने के लिए अक्सर एमआरआई या सीटी स्कैन किया जाता है। इन टेस्टों से डॉक्टर किडनी में मौजूद ब्लॉकेज को देखने और उसके बाद बेहतर इलाज करने में समर्थ हो पाते हैं।
  • किडनी डायलिसिस करवाना: खराब किडनी का इलाज कई बार किडनी डायलिसिस के द्वारा किया जाता है। इस प्रक्रिया में किडनी की सफाई की जाती है और कार्यक्षमता में सुधार आ जाता है।
  • किडनी ट्रांसप्लांट करवाना: जब किडनी की बीमारी का इलाज किसी दूसरे तरह से नहीं हो पाता, उस स्थिति में डॉक्टर किडनी ट्रांसप्लांट करवाने की सलाह देते हैं। किडनी ट्रांसप्लांट की प्रक्रिया में खराब किडनी को सही किडनी से बदला जाता है।

किडनी ट्रांसप्लांट की कीमत कितनी है?

किडनी खराब का इलाज किडनी ट्रांसप्लांट के द्वारा अच्छे से किया जाता है।

ऐसे में लोगों के मन में किडनी ट्रांसप्लांट की काफी शंकाए रहती हैं। कुछ लोगों को यह प्रत्यारोपण की प्रक्रिया काफी महंगी लगती है इसलिए लोग इसे करवाने से हिचकिचाते है, लेकिन अगर आपको इस प्रक्रिया का इस्तेमाल पता चल जाए तो आपको यह कीमत बहुत किफायती लगेगी। इसके लिए लगभग 2-3 लाख रूपए लगते है।

खराब किडनी के क्या-क्या खतरे है?

किसी भी बीमारी को छोटा ना समझें। हर बीमारी से जान का खतरा हो सकता है। आइए जानते है कि किडनी की बीमारी से कौन-कौन से खतरे होते है।

  • एनीमिया का खतरा: अगर आप किडनी खराब का इलाज नहीं करवा रहें है तो आप एनीमिया का शिकार बन सकते है। यह बीमारी खून की कमी से हो सकती है, जिसका उपचार ब्लड डोनेट करके कर सकते है।
  • ह्रदय रोग का खतरा: कई बार ऐसा देखा गया है कि यदि किडनी की बीमारी का इलाज कुछ समय तक नहीं किया जाता है, तो ह्रदय रोग का खतरा हो सकता है। हालांकि, इस स्थिति को ओपन हार्ट सर्जरी या कोरोनरी एंजियोग्राफी से ठीक कर सकते है।
  • उच्च पोटेशियम से होने वाला खतरा: अगर किडनी खराब की परेशानी लंबे समय तक रहती है तो शरीर में उच्च पोटेशियम की समस्या पैदा हो सकती है। इसमें आपको मेडिकल सहायता भी लेनी पड़ सकती है।
  • तरल पदार्थ बन जाना: अक्सर, ऐसा होता है कि किडनी की बीमारी होने पर किडनी में कई तरह के तरल पदार्थ बन सकते हैं। इस समस्या से पीड़ित व्यक्ति को किडनी डायलिसिस करवाने की सलाह दी जाती है।

किडनी खराब की रोकथाम कैसे करें:

किडनी खराब से ज्यादातर लोग पीड़ित हैं और इससे बहुत कम लोग ही ठीक हो पाते है। अगर आप कुछ महत्वपूर्ण बातों का ध्यान रखें तो आप किडनी खराब की रोकथाम कर सकते है।

अगर कोई अपनी किडनी की बीमारी की संभावना कम करना चाहता है तो नीचे कुछ तरीके बताए जा रहें है।

  • दवाई लेना: यदि किसी को स्वास्थ्य संबंधी कोई समस्या है, तो उसका इलाज सही तरह से करवाना चाहिए। यह आपकी किडनी को अच्छा रखता है और इससे आपकी किडनी संबंधी होने वाली समस्याओं की संभावनाए भी कम हो जाती है।
  • नशीले पदार्थ का सेवन ना करें: किसी भी तरह के नशीले पदार्थ का सेवन करने से व्यक्ति के स्वास्थ्य पर बुरा असर पड़ता है, क्योंकि इससे कई तरह की बिमारियों की सम्भावनाएँ बढ़ जाती है। इसलिए नशीले पदार्थ का सेवन करने से बचें।
  • सेहतमंद दिनचर्या का पालन करना: हमारी दिनचर्या का हमारी सेहत पर असर पड़ता है, जिससे कई बार संबंधी परेशानियाँ हो सकती है। इसी कारण सभी लोगों को सेहतमंद दिनचर्या का पालन करना चाहिए जिनमें पौष्टिक भोजन लेना, व्यायाम करना आदि शामिल है।
  • पर्याप्त मात्रा में पानी पीना: अगर किसी व्यक्ति के शरीर में पानी की कमी होती है तो उसे कई तरह की बीमारियाँ हो सकती है। इसलिए हमेशा पर्याप्त मात्रा में पानी पिएँ।
  • डॉक्टर के संपर्क में रहें: यह बहुत महत्वपूर्ण है, जिसका पालन सभी को करना चाहिए। यदि किसी व्यक्ति के किडनी का इलाज चल रहा है, तो डॉक्टर से संपर्क में रहें।

अस्वीकरण: सलाह सहित इस लेख में सामान्य जानकारी दी गई है। यह किसी भी तरह से योग्य चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है।अधिक जानकारी के लिए आज ही अपने फोन में आयु ऐप डाउनलोड कर घर बैठे विशेषज्ञ  डॉक्टरों से परामर्श करें। स्वास्थ संबंधी जानकारी के लिए आप हमारे हेल्पलाइन नंबर 781-681-11-11 पर कॉल करके भी अपनी समस्या दर्ज करा सकते हैं। आयु ऐप हमेशा आपके बेहतर स्वास्थ के लिए कार्यरत है।

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